रोगी शिवकांत जो किडनी डिजीज से जूझ रहे थे। इस बीमारी से रोगी को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था। क्रिएटिनिन लेवल भी बढ़ता जा रहा था और दर्द भरे डायलिसिस को भी झेल रहे थे। जिससे उनकी हालत ओर बिगड़ती जा रही थी।
इलाज से पहले
- चलने में दिक्कत
- कुछ भी खाने पर उल्टी होना
- उच्च क्रिएटिनिन लेवल – 16.16
आयुर्वेदिक इलाज के बाद
कर्मा आयुर्वेदा से रोगी को मात्र 10 दिनों में ही आराम मिलना शुरू हो गया। शिवकांत जी पहले दो व्यक्तियों के सहारे चलकर आए थे और आज वह खुद अपने पैरों पर खड़े हैं। साथ ही रोगी का क्रिएटिनिन लेवल 16.16 से 7.11 तक पंहुचा गया, ये सिर्फ कुछ दिनों में हुआ हैं। रोगी अब शारीरिक तौर पर फिट हैं और अपना काम पहले की तरह शुरू कर देना चाहिए। ऐसा सिर्फ कर्मा आयुर्वेदा की आयुर्वेदिक दवाओं और डॉ. पुनीत धवन द्वारा दिए गए उचित डाइट चार्ट सलाह का पालन करने से हुआ हैं।
किडनी की खतरनाक बीमारी
हमारे शरीर में रक्त साफ करना, हार्मोन बनाना, मिनरल का अवशोषण, यूरिन बनना, टॉक्सिन्स निकालना और एसिड का संतुलन बनाए रखने जैसे सारे जरूरी काम किडनी करती हैंष इससे आप समझ ही गए होंगे कि किडनी हमारे शरीर का कितना महत्वपूर्ण हिस्सा हैं, लेकिन अनजाने में ही आपकी कुछ आदतें आपकी किडनी को नुकसान पंहुचा देती हैं। अक्सर किडनी की समस्याओं का पता स्क्रीनिंग के परिणाम द्वारा उच्च जोखिम होने पर ही लगता हैं।
किडनी शरीर के महत्वपूर्ण अंगों मे से एक हैं। किडनी रक्त में मौजूद पानी और व्यर्थ पदार्थों को अलग करने का काम करती हैं। इसके अलावा शरीर में रासायनिक पदार्थों का संतुलन, हार्मोन छोड़ना, रक्तचाप नियंत्रित करने में भी सहायता प्रदान करती हैं। बदलती लाइफस्टाइल व काम के बढ़ने दबाव के कारण लोग जंकफूड व फास्ट फूड का सेवन ज्यादा करने लगे हैं। इसी वजह से लोगों की खाने की प्लेट से स्वस्थ व पौष्टिक आहार गायब होते जा रहे हैं. किडनी के रोगों को दूर करने के लिए कुछ प्राकृतिक उपायों की मदद लेना बहुत फायदेमंद साबित हो सकता हैं।
भारत का प्रसिद्ध किडनी उपचार केंद्र कर्मा आयुर्वेदा। यहां आयुर्वेदिक प्राकृतिक जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल करके किडनी मरीजों का इलाज किया जाता हैं। कर्मा आयुर्वेदा अस्पताल 1937 मे धवन परिवार द्वारा स्थापित किया गया था। जिसके नेतृत्व में डॉ. पुनीत धवन हैं। साथ ही डॉ. पुनीत ने 35 हजार से भी ज्यादा सफलतापूर्वक मरीजों का इलाज किया हैं।