बादाम के औषधीय गुण किडनी के लिए है लाभकारी

अल्कोहोल और किडनी रोग

dr.Puneet
+91
OR CALL
9971829191
बादाम के औषधीय गुण किडनी के लिए है लाभकारी

बादाम राजेशी परिवार से संबंध रखने वाला फल है, बादाम के अंदर बहुत से पोषक तत्व पाए जाते हैं, जैसे - प्रोटीन, मिनरल्स्, विटामिंस और फाइबर्स आदि। वैसे तो बादाम अपनी हर स्थिति में पोषक तत्वों से भरपूर होता है, लेकिन उसे भिगोने के बाद उसके पोषक तत्वों की मात्रा काफी बढ़ जाती है, इसलिए अक्सर इसे भिगो कर खाने की सलाह दी जाती है। भिगोकर खाने के अलावा बादाम के तेल को भी खासा प्रयोग किया जाता है। यह ना केवल आपके दिमाग को तेज़ में मदद करते हैं बल्कि यह हमें कई शारीरिक समस्याओं से दूर रखने में भी मदद करते हैं।

आपने ऊपर जाना कि इसमें प्रोटीन, मिनरल्स्, विटामिंस और फाइबर्स मिलते हैं, लेकिन इसके अलावा इसमें और भी कई औषधीय गुण है। लेकिन सूखे बादाम में कुछ विषाक्त तत्व और कुछ एसिड भी होते है, इसलिए बादाम भिगो कर खाने के लिए कहा जाता है। बादाम भिगोने के बाद उसमे मौजूद सारे विषाक्त तत्व और एसिड की मात्रा भी काफी कम हो जाती है।

भिगोए गये बादामों को आसानी से खाया जाता सकता है, एसिड और विषाक्त तत्व निकलने के बाद शरीर को उनसे अधिक विटामिन और खनिजों को अवशोषित करने की अधिक क्षमता आ जाती है। बादाम के अंदर इसमें फाइबर, प्रोटीन, ओमेगा -3 फैटी एसिड, ओमेगा -6 फैटी एसिड, विटामिन ई, पोटेशियम, जस्ता, कैल्शियम, मैग्नीशियम जैसे अनेक महत्वपूर्ण तत्व पाए जाते हैं।

बादाम किडनी को कैसे स्वस्थ रखता है?

बादाम कई प्रकार से आपके लिए लाभकारी माना जाता है। इसके अंदर पाए जाने वाले पोषक तत्व किडनी को कई बीमारियों और समस्याओं से बचाते हैं जिनके कारण से किडनी खराब हो सकती है। बादाम आपको निम्न वर्णित समस्याओं से बचाने में मदद करता है :-

उच्च रक्तचाप को रखे काबू

उच्च रक्तचाप वाले व्यक्तियों की किडनी खराब होने की संभावना बनी रहती है। यह किडनी खराब होने के मुख्य कारणों में एक माना जता है। एजी आप उच्च रक्तचाप की समस्या से पीड़ित है तो आपको भिगोयें गये बादामों का रोजाना सेवन करना चहिये। बादाम में मौजूद पोटेशियम उच्च रक्तचाप को बढ़ने से रोकती है। इसके अलावा इसमें मौजूद मैग्नीशियम और फोलिक एसिड धमनी में रक्त संकुचन या रक्त जमाव की संभावनाओं को कम करने में सहायता करते हैं। बादाम के इन कामों के चलते आपको उच्च रक्तचाप की समस्या नहीं होती और आपकी किडनी भी स्वस्थ बनी रहती है।

मधुमेह को बढ़ने से रोके

बादाम का सेवन करने से आप अपने बढ़े हुए मधुमेह स्तर को आसानी से काबू में ला सकते हैं। बादाम शरीर में इन्सुलिन की मात्रा को बढाने में मदद करता है जिसके चलते उच्च रक्त शर्करा स्तर काबू में आने लगता है। आप अपने मधुमेह स्तर को काबू में करने के लिए बादाम को भिगो कर इसका सेवन कर सकते हैं या फिर आप इसके तेल को गर्म फीके दूध में दाल कर इसका सेवन कर सकते हैं। ध्यान दें, दूध में आप आधा या एक चम्मच बादाम के तेल का ही इस्तेमाल करेंगे।

हड्डियों को करे मजबूत

बादाम आपकी हड्डियों को मजबूत करने में मदद करता है। हड्डियों को मजबूत करने के लिए फास्फोरस और कैल्शियम दो पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है जो बादाम में अच्छी मात्रा में पाए जाते हैं। बादाम में मैग्नीशियम, मैंगनीज और पोटेशियम जैसे पोषक तत्व भी पाए जाते है, जो हड्डियों को स्वस्थ और मज़बूत करने में मदद करते हैं। ऑस्टियोपोरोसिस (Osteoporosis) और अन्य हड्डी से सम्बंधित रोगों से बचने के लिए रोज़ाना साबुत बादाम खाएं या फिर बादाम वाला दूध पियें। छोटे बच्चों की बादाम के तेल से मालिश करने से उनकी हड्डियां मज़बूत होती हैं।

कोलेस्ट्रॉल को करे काबू 

अगर आप नियमित रूप से बादाम का सेवन करते हैं तो आपको खराब कोलेस्ट्रॉल के खतरे से छुटकारा मिलता है। बादाम में पाए जाने वाले पोषक तत्व खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करने में मदद करते हैं। शरीर में कोलेस्ट्रॉल का स्तर बढ़ने से दिल और उच्च रक्तचाप की समस्या हो सकती है। जिसके चलते आपकी किडनी खराब भी हो सकती है।

दिल को स्वस्थ रखे

बादाम आपके दिल को बीमार होने से बचाते हैं। भिगोयें गये बादामों में मोनोअनसैचुरेटेड और पॉलीअनसैचुरेटेड वसा की मात्रा अधिक होती है।  बादाम में मौजूद मोनोअनसैचुरेटेड और पॉलीअनसैचुरेटेड वसा खराब कोलेस्ट्रॉल को खत्म करने में मदद करते हैं। जिसके चलते व्यक्ति को हार्ट-अटैक, हार्ट-स्ट्रोक और ऐथिरोस्क्लेरोसिस (atherosclerosis एक बीमारी है जिसमें आपकी धमनियों के अंदर प्लाक जमा हो जाता है ) को रोकने में मदद करते हैं। बादाम का सेवन कार्डियोवैस्कुलर प्रणाली को हमेशा स्वस्थ रखने का सबसे अच्छा तरीका हैं। क्योंकि इसके अंदर प्रोटीन, पोटेशियम और मैग्नीशियम मिलते है जो कार्डियोवैस्कुलर प्रणाली स्वस्थ रखने में मदद करते है। इनके अलावा, बादाम एंटीऑक्सीडेंट विटामिन-ई की मात्रा अधिक पाई जाती है, जो दिल से जुड़ी गंभीर बीमारियों का सामना करने में सहायक होता हैं।

पाचन मजबूत करे

बादाम खाने से आपका पाचन तन्त्र हमेशा मजबूत बना रहता है। भिगोये गये बादाम का सेवन करने से पेरिस्टाल्टिक गति (peristaltic motion) को नियंत्रित करने में मदद मिलती हैं। बादाम का सेवन करने से कब्ज, अपच, पेट की सूजन और ऐंठन के लक्षणों को कम किया जा सकता है। बादाम की बाहरी परत में कुछ एंजाइम रुके होता है, जो नमी की उपस्थिति के कारण मुक्त हो जाते हैं, और बीज को सक्रिय करते है। अतः यह पाचन क्रिया को आसन बनाते है और लोगों को अधिकतम पोषण प्रदान करते हैं। बादाम लिपिड-ब्रेकिंग एंजाइम ‘लिपेज’ को सक्रिय करते हैं, यह एंजाइम भोजन में मौजूद वसा के पाचन में सहायता करता है। पाचन तन्त्र खराब होने पर किडनी में समस्या आने की संभावना बनी रहती है।

बादाम खाने से क्या कोई नुकसान भी हो सकता है?

हाँ, बादाम खाने से कई नुकसान भी हो सकते हैं। बादाम भले ही पोषक तत्वों से भरपूर होता है लेकिन इसके सेवन आपको निम्नलिखित नकारात्मक प्रभावों से जूझना पड़ सकता है :-

  • बादाम के अधिक सेवन से दवाओं का असर होना बंद हो सकता है। क्योंकि इसके अंदर ज़्यादा मात्रा में मैग्नीशियम होता है। 3 से 4 गिरी बादाम में लगभग 6mg मैग्नीशियम होता है, जबकि आपके शरीर को रोज़ाना इसकी 1.8 से 2.3mg जरुरत होती है। अधिक बादाम खाने से आपके खून में ज़्यादा मात्रा में मैग्नीशियम एंटाएसिड, लैक्सेटिव, ब्लड प्रेशर की दवाइयों और कई एंटीबायोटिक्स जैसे एंटीसाइकोटिक ड्रग्स का असर कम कर सकती है।
  • एक तरफ जहाँ बादाम वजन कम करने में मदद करता वाही यह आपका वजन बढ़ा भी सकता है। इसके अंदर कैलोरी और वसा काफी मात्रा में होती है, जिसके चलते आपका वजन बढ़ सकता है। 3 से 4 बादाम में 168 कैलोरिज़ और 14g फैट होता है। वहीं, अगर आप मुट्ठीभर बादाम रोज़ाना खाते हैं तो आप लगभग 500 से ज़्यादा कैलोरिज़ और 40 से 50g फैट का सेवन कर रहे हैं।
  • बादाम के अंदर विटमिन ई का अच्छा स्रोत माना जाता है। अगर आप बादाम का अधिक सेवन करते हैं आपके शरीर में विटामिन ई की मात्रा अधिक हो जाएगी। शरीर में विटमिन ई की अधिकता के चलते आपको दस्त, पेट फूलना, धुंधली दृष्टि, सिरदर्द और चक्कर आना, और सुस्ती आदि समस्यओं का सामना करना पड़ सकता है।
  • यदि आप दिल की समस्या के इलाज के लिए बादाम का सेवन कर रहें हैं,  तो आपको दिन के समय बादाम का उपयोग करना चाहिए। दिन के समय बादाम खाना दिल के लिए ज़्यादा फायदेमंद होता है।
  • अगर आपको कम नींद या नींद न आने की समस्या हो रही है तो बादाम का उपयोद रात को सोने से पहले करें। बादाम में मैग्नीशियम होता है, जो नींद लाने में मदद करता है।

कर्मा आयुर्वेदा द्वारा किडनी फेल्योर का आयुर्वेदिक उपचार

कर्मा आयुर्वेदा साल 1937 से किडनी रोगियों का इलाज करता आ रहा है। वर्ष 1937 में धवन परिवार द्वारा कर्मा आयुर्वेदा की स्थापना की गयी थी। वर्तमान समय में डॉ. पुनीत धवन कर्मा आयुर्वेदा को संभाल रहे है। डॉ. पुनीत धवन ने केवल भारत में ही नहीं बल्कि विश्वभर में किडनी की बीमारी से ग्रस्त मरीजों का इलाज आयुर्वेद द्वारा किया है। आयुर्वेद में प्राकृतिक जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल किया जाता हैं। जिससे हमारे शरीर में कोई साइड इफेक्ट नहीं होता हैं। साथ ही डॉ. पुनीत धवन ने 35 हजार से भी ज्यादा किडनी मरीजों को रोग से मुक्त किया है। कर्मा आयुर्वेदा किडनी डायलिसिस या किडनी ट्रांसप्लांट के बिना पूर्णतः प्राचीन भारतीय आयुर्वेद के सहारे से किडनी फेल्योर का इलाज कर रहा है।

लेख प्रकाशित